मुंबई , मार्गो को गड्ढा मुक्त करने के अभियान को लेकर सरकार के विभिन्न विभाग भले ही बड़े-बड़े दावा किये हो ।लेकिन इनकी हकीकत किसी से छिपी नहीं है। सरकारी किताबी आंकड़ों में सब कुछ दुरुस्त है लेकिन हकीकत कुछ और l
सड़क पर बने गहरे गड्ढे और जर्जर मार्ग हादसों को आमंत्रण दे रहे है l सड़क पर आवागमन के दौरान दुर्घटना की अक्सर बनी रहती है आशंका lहालांकि इस रास्ते से न जाने कितने बार पदाधिकारी व स्थानीय जनप्रतिनिधियों ने आवागमन किया है और उनके नजर में भी यह गड्ढा दिखा होगा। जिसका खामियाजा राहगीरों को भुगतना पड़ रहा है।
अभी हाल ही में शुक्रवार शाम करीब ६ बजे के आस पास
कांदिवली ,आर / दक्षिण ,मुंबई महानगर पालिका के कार्यालय से कुछ ५० मीटर की दुरी पर l,मथुरादास रोड पर स्थित श्री राम स्वीट के सामने बाइक से यु टर्न करते समय पत्रकार ,संपादक और आरटीआई कार्यकर्ता श्री एस पी यादव का डिवाइडर में पैर फस गया l
डिवाइडर बहुत गलत तरीके से बनाया गया है । डिवाइडर में काफी गैप छोड़ा गया है । उस गैप में पैर फंस जाने से एसपी यादव को तलवे के पास करीब डेढ़ इंच गहरी चोट लग गयी.कांदिवली के शताब्दी हॉस्पिटल में उनका ईलाज चला और उनके पैर में टाके लगे है .
कांदिवली ,आर / दक्षिण ,मुंबई महानगर पालिका के कार्यालय से कुछ ५० मीटर की दुरी पर का यह हाल है l
मुंबई महानगर पालिका के बईमान अभियंता और ठेकेदार की मिलीभगत से रास्तो का हो गया सत्यानाश , क्या लोगो की जान लेके ही मानेगा मनपा प्रशासन
इस दुर्घटना के जिम्मेदार कोन ?
,इस दुर्घटना के जिम्मेदार मुंबई महानगर पालिका के बईमान अभियंता और ठेकेदार ही है .एस पी यादव ने मुंबई महानगर पालिका के बईमान अभियंता और ठेकेदार के खिलाफ पुलिस को लिखित में शिकायत दिया है .कांदिवली में रास्तो पर सेकड़ो स्थानो पर खडडे है जिस पर मुंबई महानगर पालिका के बईमान अभियंता का बिल्कुल ध्यान नहीं है l जिस रोड की जगह पे काम नहीं हुआ है जो आज भी जर्जर हालत में है इसकी जानकारी सहायक आयुक्त को भी दी गयी है l लेकिन अभी तक काम नहीं हुआ है. बईमान अभियंता , ठेकेदार के साथ मिलकर दलाली खाकर आज जनता के जान के साथ खिलवाड़ कर रहे है .मुंबई का ब्यूटी फिकेशन के नाम पर अभियंताओं के ठेकेदार के साथ मिलकर केवल लूटपाट किया है , आम जनता के साथ विश्वासघात किया है .जनता के पैसों को लूटा है .मुंबई के रास्ते में खडडा है या खड़्डे में रास्ता है .अभियंताओं और ठेकेदार का लूटपाट का कहीं ये अड्डा तो नहीं है, ये समझना जरुरी हो गया है .