हर शनिवार को पुलिस स्टेशनों में लगेगी लोक अदालत
मुंबई के पुलिस स्टेशनों में हर शनिवार को लोक अदालत लगाया जा रहा है। ऐसा मुंबई पुलिस आयुक्त के निर्देश पर किया जा रहा है। लोक अदालातों के माध्यम से लोगों के शिकायतों का निपटारा अब जल्द किया जा रहा है।
बता दें कि मुंबईकर अपनी शिकायत को लेकर संबंधित पुलिस स्टेशनों में जाते हैं, लेकिन प्रतिदिन बढ़ते अपराध और उनकी जांच में व्यस्त अधिकारी उन्हें उतना समय नहीं दे पाते हैं, जितना उन्हें मिलना चाहिए।
मुंबई पुलिस कमिश्नर विवेक फणसलकर ने लोगों की समस्या और अधिकारियों की व्यस्तता को देखते हुए हर शनिवार को पुलिस स्टेशन में लोगों की शिकायत सुनने का आदेश दिया है। इसे लोगों ने ‘लोक अदालत’ और ‘पुलिस दरबार’ का नाम दिया है। इसमें महिलाओं और पुरुषों दोनों की शिकायतों का निपटारा किया जाता है। गौरतलब है कि हर पुलिस स्टेशन में प्रतिदिन 4 से 6 शिकायतें आती हैं। इन सभी की लिस्टिंग होती है और उन पर सुनवाई और कार्रवाई की जाती है।
मुंबई पुलिस महिलाओं की अर्जियों पर खासतौर पर बेहद अलर्ट रहती है। बहुत-सी शिकायतों में कोई आपराधिक मामले नहीं होते हैं। इस पर पीड़ित और विरोधी पक्ष को पुलिस स्टेशन बुलाकर चेतावनी दी जाती है। दोबारा शिकायत आने पर, एफआईआर या एनसी जो भी जरूरी हुई, वह दर्ज की जाती है। कई बार केस सिविल होता है, फिर भी लोग पुलिस स्टेशन आते हैं। ऐसे लोगों को पुलिस गाइड करती है कि आप इसके लिए कोई वकील करें, यह शिकायत कोर्ट में दें, क्योंकि सिविल केस पुलिस नहीं लेती है। पहले पुलिस स्टेशनों में लगने वाली ‘लोक अदालत’ में अलग-अलग जॉइंट सीपी, एडिशनल सीपी, डीसीपी जाते थे, लेकिन अब पुलिस स्टेशन के सीनियर अधिकारी ही इन शिकायत पर सुनवाई कर लोगों को उनकी समस्या से छुटकारा दिला रहे हैं।
मालाड के वरिष्ठ पुलिस निरीक्षक रवि अडाने के अनुसार जो लोग लिखित शिकायत देते हैं, ऐसे व्यक्तियों को आम दिन के अलावा शनिवार को ‘तक्रार दिवस’ के दिन बुलाया जाता है। उन शिकायतों पर सुनवाई होती है। लोगों की समस्या दूर करने के लिए पुलिस उन्हें हरसंभव मदद करती है, जरूरत पड़ने पर एफआईआर भी दर्ज की जाती है।